छठे भाव में चंद्रमा का फल – moon in 6th house
moon in 6th house-छठे भाव में अपने मित्र बुध की राशि पर स्थित चंद्रमा के प्रभाव से जातक शत्रुओं पर विजय प्राप्त करता है | और यह विजय भी शांतिपूर्ण तरीके से होती है |
ऐसे व्यक्ति विपत्तियों पर अपने धैर्य एवं विनम्रता के बल पर विजय प्राप्त करता है | यह अपनी बुद्धिमत्ता के कारण बड़ी से बड़ी विपत्ति पर काबू पाने में सक्षम होते हैं |
यदि बुध की स्थिति अच्छी न हो तो ऐसे जातकों को कर्ज नहीं लेना चाहिए | और बुध यदि चर राशि में स्थित हो तो कर्ज देना नहीं चाहिए | अन्यथा पैसा वापिस प्राप्त नहीं होता |
ऐसे जातको के घरेलू वातावरण में भी अशांति एवं कमियां बनी रहती हैं | और यदि चन्द्रमा को पाप ग्रह देखते हों या पाप ग्रहों की युति हो तो व्यक्ति को अनेक संकटों का सामना करना पड़ता है |
विशेष कर ऐसे व्यक्तियों को शीत से सम्बंधित रोग होते हैं | इसलिए अपने आप को शीत से बचने का हर संभव प्रयास करना चाहिए |
सातवीं दृष्टि से अपने मित्र गुरु की राशि वाले 12वें भाव को देखने के कारण जातक शुभ कार्यों में व्यय करता है | और धार्मिक कार्यों सहर्ष आगे रहकर बढ़-चढ़कर भाग लेते हैं |
एसी ग्रह स्थिति वाले जातक बाहरी स्थानों से अच्छा लाभ प्राप्त करते हैं | एवं सुख भी प्राप्त करता है |
कुल मिलाकर ऐसी ग्रह स्थिति वाला जातक विनम्र, धैर्यवान, शुभ कर्म करने वाला तथा घरेलू जीवन में त्रुटियों का शिकार बना रहने वाला होता है |
छठे भाव में स्थित चन्द्रमा के उपाय- moon in 6th house
- रात्रि के समय दूध का सेवन भूलकर भी न करें |
- सोमवार को दूध मिश्रित जल से शिवजी का अभिषेक करें |
- दूध का दान न करें |
- अस्पताल में मरीजों के लिये पानी की व्यवस्था करें |
- शमशान में पानी की व्यवस्था करें |
- दुर्व्यशन से सदा दूर रहें |
- मामा पक्ष से अच्छे सम्बन्ध बना कर रखें |
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